श्रद्धांजलि सभा में श्रेष्ठियों ने किया तपस्वी जीवन का गुणगान, संयम की साधना को बताया प्रेरणास्रोत
अजमेर ।। एनएमटी न्यूज़ एजेंसी |
संत शिरोमणि आचार्य श्री विद्यासागर जी महाराज से दश प्रतिमा व्रती दीक्षा प्राप्त कर संयम-पथ को अपनाने वाले ब्रह्मचारी श्री चिदानंद जी (पूर्व नाम – श्री राजेंद्र जी दनगसिया) को समर्पित विनयांजलि सभा में रविवार को अजमेर के राज भवन, सिविल लाइंस परिसर में श्रद्धा और संवेदना का अद्भुत संगम देखने को मिला।
कार्यक्रम का शुभारंभ आचार्य श्री जी के चित्र के समक्ष दीप प्रज्वलन एवं निर्मल गंगवाल जी के भावविभोर मंगलाचरण भजन से हुआ। संचालन भोपाल से पधारे राष्ट्रकवि श्री चंद्रसेन जी ने किया, जिन्होंने जैन धर्म में समाधिमरण और सल्लेखना व्रत की महिमा को गहराई से समझाया।
🕉️ ब्रह्मचारी जी के जीवन पर श्रद्धा से भरे वक्तव्य:
- श्रद्धा जैन (पोती) ने दादाजी के साथ बिताए प्रेरणादायक क्षणों को साझा करते हुए उनके जीवन मूल्यों को रेखांकित किया।
- श्रमण संस्कृति संस्थान, जयपुर के प्राचार्य शीतल चंद जी ने ब्रह्मचारी जी की संयम यात्रा और धार्मिक चेतना का गूढ़ वर्णन किया।
- पीएनसी ग्रुप, आगरा के चेयरमैन प्रदीप जैन ने बताया कि उन्होंने 23 वर्ष की आयु में सप्तव्यसन का त्याग ब्रह्मचारी जी के सान्निध्य में किया था।
- जयपुर जैन समाज अध्यक्ष सुशील पहाड़िया जी ने व्रतधारी जीवन की सराहना करते हुए स्वयं भी समाधिमरण की भावना व्यक्त की।
📽️ प्रेरणा के क्षण – आचार्य श्री विद्यासागर जी के शिष्य मुनि श्री के उद्बोधन का वीडियो प्रदर्शन
मुनि श्री नीरजसागर जी एवं निर्माणसागर जी द्वारा फरवरी में प्रदत्त उद्बोधन का वीडियो सभा में दिखाया गया, जिसने सभी को गहराई से प्रभावित किया।
🕯️ विशिष्ट वक्ता एवं श्रद्धांजलियाँ:
- सीए कमलेश जैन (वरुण बेवरेजेस, गुरुग्राम) ने भावपूर्ण श्रद्धांजलि अर्पित की।
- डॉ. नरेंद्र जैन (भोपाल) ने अंतिम समय की तपश्चर्या और धर्मनिष्ठा को प्रभावशाली शब्दों में प्रस्तुत किया।
- ब्रह्मचारी श्री शशांक जी (अजमेर) ने चार उपवासों की साधना और अंतिम क्षणों का वास्तविक चित्रण किया — जिसमें आचार्य श्री समयसागर जी द्वारा णमोकार मंत्र के श्रवण से युक्त ब्रह्मचारी जी का पवित्र समाधि-मरण हुआ।
🎞️ डॉक्यूमेंट्री क्लिप्स से भावविभोर हुए श्रद्धालु
समापन अवसर पर ब्रह्मचारी जी के जीवन से जुड़ी दुर्लभ झलकियों को डॉक्यूमेंट्री के माध्यम से प्रस्तुत किया गया, जिससे सभा में उपस्थित सभी साधर्मी श्रद्धा से गदगद हो उठे।
👨👩👧👦 परिवारजन एवं गणमान्य अतिथि रहे उपस्थित:
पुत्र श्री अजय जी-साधना जी, विजय जी-सविता जी, पोते-पोतियाँ – श्रद्धा, अनिमेष, श्रुति, प्रज्ञा, आदित्य व पुत्रवधु दृष्टि सहित बड़ी संख्या में परिवारजन उपस्थित रहे।
जैसवाल जैन समाज अध्यक्ष पवन जैन (बिड़ला पार्क), पूर्व अध्यक्ष सुनील ढिलवारी, डॉ. अनिल जैन (पूर्व अधीक्षक, जेएलएन अस्पताल), विजय पल्लीवाल (जिला कांग्रेस अध्यक्ष), प्रकाश पाटनी, प्रदीप पाटनी, पारस कासलीवाल (जयपुर), राजीव जैन (चेन्नई), विमल भंडारी (भोपाल), विजय धुर्रा (अशोक नगर) सहित दिल्ली, जयपुर, आगरा, शिवपुरी, धौलपुर, अशोकनगर सहित देशभर से सैकड़ों साधर्मी श्रद्धांजलि सभा में उपस्थित रहे।
ब्रह्मचारी श्री चिदानंद जी का संयममय जीवन आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणास्त्रोत रहेगा। उनकी समाधि, त्याग और तप का यह स्मरण भविष्य को संयम की राह पर चलने की दिशा देगा।
(महावीर संदेश – मनोज जैन नायक)